Biology class 10th chapter 5 Notes in Hindi | हमारा पर्यावरण (Our Environment) Best notes in Hindi

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Biology class 10th chapter 5 Notes in Hindi

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हम आपके लिए इस chapter हमारा पर्यावरण (Our Environment) में कम समय में परिक्षा की तैयारी करने के लिए शाँट नोट्स लाए है। जिनसे आप अपनी परिक्षा की तैयारी कम से कम समय में कर पायेंगे । इस पोस्ट में हमने इस chapter का हरेक point को आसान भाषा में cover कियें है जो आप कभी नहीं भुल पाएंगे |

पर्यावरण (Environment)

चारों तरफ पाए जाने वाले जीव जंतु पेड़ पौधे निर्जीव वस्तुओं और प्राकृतिक स्थितियां जैसे सूर्य का प्रकाश जलवायु और मौसम के सम्मिलित रूप को पर्यावरण कहते हैं

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पर्यावरण के घटक

जैविक घटक – पेड-पौधे जीव जंतु सुर्य का प्रकाश इत्यादि

अजैविक घटक –मिट्टी , खनीज . चट्टानों इत्यादि

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जैव भु रसायन चक्र

जीवमंडल में मिट्टी जल और जीव धारियों के माध्यम से रासायनिक पदार्थों जैसे कार्बन नाइट्रोजन फास्फोरस गंधक इत्यादि का चक्रीय पथ में भ्रमण करना भू रासायनिक चक्र कहलाता है

अपशिष्ट पदार्थ

बेकार तथा बिना किसी उपयोगिता वाले पदार्थ जो फेंक दिए जाते हैं अथवा जिनको शरीर से उत्सर्जित कर दिया जाता है अपशिष्ट पदार्थ कहलाता है जैसे गोबर मल मूत्र कीटनाशक रसायन इत्यादि

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जैव निम्नीकरणीय पदार्थ

ऐसे पदार्थ जो सूक्ष्म जीवों की क्रिया द्वारा सरल अव्ययों में तोड़े ना सकते हैं जैव निम्नीकरण पदार्थ कहलाता है गोबर मल मूत्र इत्यादि

अजैव निम्नीकरणीय पदार्थ

ऐसे पदार्थ जिनको सूक्ष्मजीव अपघटित नहीं कर पाते हैं और अजैव निम्नीकरण पदार्थ कहलाता है जैसे प्लास्टिक कीटनाशक रसायन इत्यादि

जीव मंडल

पृथ्वी के सभी जीवन क्षेत्रों के सम्मिलित रूप को जीवमंडल कहते है

पारितंत्र

जीवमंडल को अनेक छोटी-छोटी स्वतंत्र इकाइयों में बांटा जाना पारितंत्र कहलाता है

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पारितंत्र के जैविक घटक की श्रेणी

उत्पादक –इस श्रेणी में वे सभी जीवधारी आते हैं जो अपने भोजन का संश्लेषण स्वयं कर लेते हैं जैसे सभी हरे पेड़ पौधे शैवाल यूग्लीना इत्यादि

उपभोक्ता –वे सभी जीव जो उत्पादको द्वारा संश्लेषित भोजन का उपयोग करते हैं उपभोक्ता कहलाते हैं जैसे सभी जीव एवं परजीवी पौधे

उपभोक्ता का वर्गीकरण

प्राथमिक उपभोक्ता –जो उपभोक्ता प्रत्यक्ष रूप से पौधे अथवा उनके उत्पादकों को खाते हैं प्राथमिक उपभोक्ता कहलाता है जैसे खरगोश हिरण बकरी भैंस इत्यादि

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द्वितीयक उपभोक्ता –वैसे जंतु जो प्राथमिक उपभोक्ताओं का भक्षण करते हैं द्वितीयक उपभोक्ता कहलाते है जैसे छिपकली मेंढक इत्यादि

सर्वोच्च उपभोक्ता –वैसा उपभोक्ता जिनका शिकार कोई दूसरा जानवर नहीं कर पाते हैं और जो अपनी मौत से खुद मरते हैं सर्वोच्च उपभोक्ता कहलाता है जैसे शेर चीता बाघ

तृतीयक उपभोक्ता –वे उपभोक्ता जो द्वितीयक उपभोक्ताओं को खाते हैं उसे तृतीयक उपभोक्ता कहते हैं जैसे सियार लोमड़ी चीता शेर इत्यादि

अपघटक

वे जीवधारी जो उत्पादकों और उपभोक्ताओं के मृत शरीरों का अपघटन करके अपघटन से प्राप्त ऊर्जा के सहारे जीवित रहते हैं अपघटक कहलाते हैं जैसे जीवाणु और कवक

जीवभार

किसी जीव के शरीर में उपस्थित सभी पदार्थ एवं शरीर के अंग उपांग आदि जिनके कारण उसके शरीर का कुछ निश्चित भार होता है जीव भार कहलाता है

आहार श्रृंखला

किसी पारितंत्र में पदार्थों का चक्रीय प्रवाह आहार श्रृंखला कहलात है

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घास का आहार श्रृंखला

घास→ किट→ मेढ़क→ साँप→ बाज़

जलीय आहार श्रृंखला

जलीय पौधा→ छोटी मछली→ बडी मछली→ बगुला

वन आहार श्रृंखला

वन→ हिरण→ शेर

आहार जाल

किसी पारितंत्र में पाए जाने वाले आहार श्रृंखला के संजाल को आहार जाल कहते हैं

सुर्य कि कुल उर्जा का केवल एक प्रतिशत पेड़-पौधे उपयोग कर पाते है

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लिंडमान का 10% नियम

आहार श्रृंखला उपलब्ध ऊर्जा की मात्रा का 10% होती है जिसे 1942 ईस्वी में लिंडमान नामक वैज्ञानिक ने बताया जिसे लिंडमान का 10% नियम कहत हैं

पोषी स्तर

किसी आहार श्रृंखला के विभिन्न चरणों को पोषी स्तर कहते हैं

पुनः चक्रण

ठोस अपशिष्ट को तोड़कर उसे उपयोग के लायक दूसरी वस्तुओं को बनाना पुनर्चक्रण कहलाता है

ओजोन क्या है

ओजोन ऑक्सीजन का एक समस्थानिक है इस के एक अणु में ऑक्सीजन के 3 परमाणु होते हैं सूर्य की पराबैंगनी किरणों के प्रभाव से ऑक्सीजन अपनी परमाणु में टूट जाती है तथा प्रत्येक परमाणु ऑक्सीजन से संयुक्त होकर ओजोन का अणु बनाता है

ओजोन परत के क्षय के कारण

ओजोन परत के छह का मुख्य कारण क्लोरोफ्लोरोकार्बन (CFC) होता है। 

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